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दिल्ली धमाकों के बाद उत्तराखंड में अलर्ट, सीमाओं पर बढ़ी चौकसी

दिल्ली में हुए धमाकों के बाद उत्तराखंड पुलिस मुख्यालय ने राज्यभर में सुरक्षा अलर्ट जारी कर दिया है। संभावित सुरक्षा जोखिमों को देखते हुए अंतरराष्ट्रीय और अंतरराज्यीय सीमाओं पर निगरानी बढ़ा दी गई है।

एडीजी कानून व्यवस्था डॉ. वी. मुरुगेशन ने सभी जिलों के पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि भीड़भाड़ वाले स्थानों, धार्मिक स्थलों और परिवहन केंद्रों पर सघन चेकिंग अभियान चलाया जाए।

वी मुरुगेशन ने मंगलवार को गढ़वाल और कुमाऊं रेंज के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक की और कई दिशा-निर्देश जारी किए।

उन्होंने कहा कि किसी भी संदिग्ध गतिविधि या वस्तु की सूचना तुरंत उच्च अधिकारियों तक पहुंचाई जाए ताकि त्वरित कार्रवाई की जा सके।

हिमाचल और सहारनपुर बॉर्डर पर विशेष चौकसी

दिल्ली धमाकों के बाद उत्तराखंड पुलिस ने पड़ोसी राज्यों की पुलिस से भी संपर्क बढ़ाया है। एडीजी ने बताया कि प्रदेश पुलिस लगातार उत्तर प्रदेश एटीएस और दिल्ली पुलिस के संपर्क में है।

इसके साथ ही हिमाचल प्रदेश और सहारनपुर बॉर्डर पर विशेष सतर्कता बरती जा रही है।

उन्होंने कहा कि सीमावर्ती जिलों के पुलिस अधिकारी हर घंटे जानकारी साझा कर रहे हैं।

साथ ही नेपाल सीमा पर भी एसएसबी (सशस्त्र सीमा बल) के साथ समन्वय बढ़ाया गया है ताकि किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत रोक लगाई जा सके।

सोशल मीडिया और संवेदनशील स्थलों पर कड़ी निगरानी

एडीजी मुरुगेशन ने बताया कि उत्तराखंड में कई सैन्य प्रतिष्ठान, हवाई अड्डे, हेलिपैड, और धार्मिक स्थल हैं, जहां विशेष सतर्कता की आवश्यकता है।

इन सभी स्थानों पर बम निरोधक दस्ते (Bomb Disposal Squad) और श्वान दस्ते (Dog Squads) के साथ गहन जांच की जा रही है।

उन्होंने कहा कि पुलिस इंटेलिजेंस यूनिट को भी सक्रिय किया गया है ताकि सोशल मीडिया पर फैलने वाली अफवाहों या संदिग्ध पोस्ट की निगरानी रखी जा सके।

किसी भी तरह की गलत या भ्रामक जानकारी साझा करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

रिस्पॉन्स टाइम सुधारने के निर्देश

राज्य में सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत बनाने के लिए एडीजी ने डायल 112 की कार्यप्रणाली की समीक्षा की।

उन्होंने बताया कि कुछ पहाड़ी जिलों में वर्तमान में रिस्पॉन्स टाइम 20 से 23 मिनट तक है, जबकि प्रदेश का औसत 12 से 13 मिनट है।

इस अंतर को कम करने के लिए जिलों को अतिरिक्त संसाधन उपलब्ध कराने और टीमों को प्रशिक्षित करने के निर्देश दिए गए हैं।

एडीजी ने कहा कि वाहन चोरी, स्नैचिंग और स्ट्रीट क्राइम जैसी घटनाओं की जिला प्रभारी स्वयं समीक्षा करेंगे, जबकि एसपी टेलीकॉम को हर महीने जनपदवार रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं।

बदरीनाथ धाम में सुरक्षा ड्रिल, बम निरोधक दस्ता तैनात

दिल्ली धमाकों के बाद धार्मिक स्थलों की सुरक्षा भी बढ़ा दी गई है। मंगलवार को बदरीनाथ धाम में असम राइफल्स, बम निरोधक दस्ता, पुलिस और एसडीआरएफ ने संयुक्त सुरक्षा ड्रिल आयोजित की।

इसके साथ ही जिले के प्रवेश द्वारों गैरसैंण, ग्वालदम, मंडल रोड और गौचर में देर रात से ही सघन चेकिंग अभियान चलाया गया।

धाम और आसपास के क्षेत्रों में बम निरोधक दस्ता तथा असम राइफल्स की टीमें लगातार निगरानी कर रही हैं।

ज्योतिर्मठ क्षेत्र में भी पुलिस द्वारा चेकिंग अभियान जारी है। हाईवे पर जगह-जगह नाकाबंदी कर वाहनों की जांच की जा रही है।

https://regionalreporter.in/command-handed-over-to-ganesh-godiyal/
https://youtu.be/kYpAMPzRlbo?si=Vo-ohde-wJ0m7G8j

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