महिला के लिए आरक्षित होने से पुरूष दावेदारों के अरमान धरे-के-धरे
आगामी समय में सम्पन्न होने वाले नगर निकाय चुनाव में अध्यक्ष पद सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने के कारण पुरूष दावेदारों के अरमानों पर पानी फिर गया है।
अध्यक्ष पद पर काबिज होने के लिए पुरूष दावेदारों की तैयारियां धरी की धरी रह गयी है। नगर पंचायत अध्यक्ष का पद सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने के लिए भाजपा-कांग्रेस से कई महिलाओं ने दावेदारी पेशकर मतदाताओं के बीच जाकर अपने दावेदारी पेश करने की कवायद शुरू कर दी है।
वित्तीय वर्ष 2013-14 में पहली बार अस्तित्व में आई नगर पंचायत ऊखीमठ गांधीनगर, उदयपुर, ओकारेश्वर व भटेश्वर सहित चार वार्डों में विभाजित है।
वित्तीय वर्ष 20 18-19 में ग्राम पंचायत चुन्नी मंगोली के ओंकारेश्वर वार्ड मे शामिल होने के कारण नगर पंचायत मे वर्ष 2013-14 की तुलना वर्ष 2019 में सम्पन्न हुए नगर पंचायत चुनाव में मतदाताओं की संख्या में खासा इजाफा हुआ था।
वर्ष 2013 में सम्पन्न हुए नगर पंचायत के चुनाव में कांग्रेस अधिकृत प्रत्याशी रीता पुष्वाण नगर पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी पर काबिज हुई थी जबकि वर्ष 2019 में भाजपा अधिकृत प्रत्याशी विजय राणा ने कांग्रेस प्रत्याशी प्रकाश गुसाईं व निर्दलीय प्रत्याशी प्रकाश रावत को पटकने देकर अध्यक्ष की कुर्सी हासिल की थी।
ऊखीमठ नगर पंचायत की कुर्सी सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने से पूर्व भाजपा से निवर्तमान नगर पंचायत अध्यक्ष विजय राणा ,व्यापार संघ अध्यक्ष राजीव भटट, त्रिदिवसीय मदमहेश्वर मेला सचिव प्रकाश रावत, भाजपा मण्डल अध्यक्ष अनुसोया प्रसाद भट्ट, वन पंचायत सरपंच पवन राणा सहित लगभग एक दर्जन लोग अपने दावेदारी कर चुके थे जबकि कांग्रेस से निवर्तमान सभासद प्रदीप धर्म्वाण, रवीन्द्र रावत ,कांग्रेस युवा जिलाध्यक्ष कर्मवीर कुवर, पूर्व सभासद प्रमोद नेगी, बलवन्त रावत, पूर्व मे अध्यक्ष का चुनाव लड़ चुके प्रकाश गुसाई सहित एक दर्जन लोगों की प्रबल दावेदारी मानी जा रही थी।
मगर आगामी समय में सम्पन्न होने वाले नगर निकाय चुनाव के लिए अध्यक्ष पद सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने के कारण पुरूष दावेदारों के अरमानो पर पानी फिर गया है।
स्थानीय सूत्रों की माने तो, अध्यक्ष की कुर्सी सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने से पूर्व कुछ पुरूष दावेदारों ने पार्टी से अधिकृत होने के लिए भाजपा कांग्रेस के प्रदेश पदाधिकारियों के सन्मुख अपनी दावेदारी पेशकर मतदाताओं को रिझाने का काम शुरू कर दिया था।
भले ही राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा अभी आगामी समय में सम्पन्न होने वाले नगर निकाय चुनाव की तिथि निर्धारित नहीं की गयी है, मगर अध्यक्ष पद सामान्य महिला के लिए आरक्षित होने से पुरूष दावेदारों के अरमान धरे-के-धरे रह गये हैं।