जिलाधिकारी ने सभी विभागों को दिए निर्देश
मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद प्रशासन हरकत में, नगर निगम स्तर पर तैयारी शुरू
श्रीनगर शहर को ‘सोलर सिटी’ के रूप में विकसित करने की प्रक्रिया अब औपचारिक रूप से शुरू हो गई है।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा बैकुंठ चतुर्दशी मेले के अवसर पर की गई घोषणा
के बाद जिला प्रशासन की ओर से इसके क्रियान्वयन को लेकर संबंधित विभागों को निर्देश जारी कर दिए गए हैं।
जिलाधिकारी कार्यालय से जारी आदेश में स्पष्ट किया गया है कि मुख्यमंत्री
की घोषणा के अनुरूप परियोजना से जुड़े सभी कार्यों को समयबद्ध तरीके से पूरा किया जाए और प्रगति रिपोर्ट नियमित रूप से शासन को भेजी जाए।
जिलाधिकारी ने इन विभागों को दिए निर्देश
मुख्यमंत्री कार्यालय से प्राप्त पत्र के आधार पर जिलाधिकारी गढ़वाल ने निम्न विभागों को निर्देश जारी किए हैं:
- नगर निगम श्रीनगर
- लोक निर्माण विभाग
- पेयजल विभाग
- शहरी विकास विभाग
- विद्युत विभाग
- उच्च शिक्षा विभाग
- स्वास्थ्य विभाग
इन विभागों को परियोजना से जुड़े प्रस्ताव, कार्ययोजना और संसाधन आकलन शीघ्र प्रस्तुत करने को कहा गया है।

क्या है ‘सोलर सिटी’ योजना का उद्देश्य
सोलर सिटी परियोजना के अंतर्गत श्रीनगर को बिजली की आवश्यकताओं में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में विकसित किया जाएगा। इसके लिए:
- सरकारी भवनों पर सोलर पैनल लगाए जाएंगे
- स्ट्रीट लाइटिंग को सौर ऊर्जा से जोड़ा जाएगा
- जलापूर्ति और सार्वजनिक सेवाओं में सौर ऊर्जा का उपयोग
- स्कूल, अस्पताल और नगर निगम भवनों को सोलर सिस्टम से जोड़ने की योजना
- बिजली बचत और वैकल्पिक ऊर्जा स्रोतों को बढ़ावा
हालांकि परियोजना की कुल लागत, चरणबद्ध क्रियान्वयन तथा समयसीमा को लेकर फिलहाल कोई आधिकारिक विवरण जारी नहीं किया गया है।
मेयर आरती भंडारी ने दी प्रतिक्रिया
नगर निगम श्रीनगर की महापौर आरती भंडारी ने कहा कि मुख्यमंत्री की घोषणा पर प्रशासनिक कार्रवाई शुरू होना एक महत्वपूर्ण संकेत है।
उन्होंने कहा “बैकुंठ चतुर्दशी मेले में ‘सोलर सिटी’ की घोषणा की गई थी। अब उस पर शासन स्तर से आदेश आना यह दर्शाता है कि इस दिशा में काम शुरू हो चुका है। आने वाले समय में नगर निगम स्तर पर आवश्यक तैयारियां की जाएंगी।”
मेयर ने यह भी कहा कि इस योजना से शहर की ऊर्जा व्यवस्था में बदलाव आएगा और सौर ऊर्जा का उपयोग बढ़ाया जाएगा।
जिला प्रशासन की स्पष्ट चेतावनी
जिला प्रशासन ने निर्देश में स्पष्ट किया है कि मुख्यमंत्री की घोषणाओं के क्रियान्वयन में किसी भी
तरह की लापरवाही पाए जाने पर संबंधित विभाग की जिम्मेदारी तय की जाएगी।
सभी अधिकारियों को नियमित रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं।
आगे क्या
प्रशासनिक स्तर पर माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में इस परियोजना को लेकर:
- विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (DPR) तैयार होगी
- बजट प्रस्ताव सरकार को भेजे जाएंगे
- तकनीकी सर्वे कराया जाएगा
- विभागीय समन्वय बैठकें होंगी
इसके बाद जमीन पर कार्य शुरू होने की प्रक्रिया आगे बढ़ेगी।

















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