पश्चिमी विक्षोभ और जेट स्ट्रीम के असर से उत्तर से दक्षिण तक बदला मौसम का मिजाज
दिसंबर के मध्य तक पहुंचते-पहुंचते देशभर में सर्दी अपने चरम पर पहुंच गई है।
उत्तर भारत के मैदानी इलाकों में जहां तीखी सर्द हवाएं और घना कोहरा जनजीवन को प्रभावित कर रहा है,
वहीं उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर के पर्वतीय क्षेत्रों में बर्फबारी और
कड़ाके की ठंड ने सर्दी की धार और तेज कर दी है।
इस बार मौसम का असर केवल उत्तर भारत तक सीमित नहीं रहा।
विदर्भ, उत्तर महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, तेलंगाना, दक्षिण आंतरिक कर्नाटक और
ओडिशा जैसे क्षेत्रों में भी शीतलहर और ठंडी हवाओं का अलर्ट जारी किया गया है,
जो मौसम विज्ञानियों के अनुसार असामान्य स्थिति मानी जा रही है।
पश्चिमी विक्षोभ और जेट स्ट्रीम से बदला मौसम
मौसम विभाग के अनुसार, वर्तमान में मध्य स्तरों पर सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ उत्तर-पश्चिम भारत के
मौसम को प्रभावित कर रहा है।
इसके साथ ही लगभग 12.6 किलोमीटर की ऊंचाई पर सक्रिय उपोष्णकटिबंधीय पश्चिमी जेट स्ट्रीम
की गति करीब 100 नॉट (185 किमी प्रति घंटा) तक पहुंच गई है।
इस संयोजन के कारण हिमालयी क्षेत्रों में नमी और ठंड बढ़ रही है,
जबकि मैदानी इलाकों में ठंडी हवाओं, कोहरे और तापमान में गिरावट दर्ज की जा रही है।
यही कारण है कि ठंडी हवा सामान्य से अधिक दक्षिण की ओर फैल गई है।
जम्मू-कश्मीर और हिमालयी क्षेत्र में बर्फबारी का दौर
मौसम विभाग ने जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान और मुजफ्फराबाद में 14 से 18 दिसंबर
के बीच हल्की से मध्यम बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई है।
ऊंचाई वाले इलाकों में तापमान पहले ही शून्य से नीचे चला गया है,
जिससे पर्वतीय मार्गों पर फिसलन और यातायात बाधित होने की आशंका है।
कश्मीर घाटी ‘चिल्ले कलां’ की ओर बढ़ रही है,
जो 40 दिनों की सबसे कठोर सर्दियों की अवधि मानी जाती है और जिसकी शुरुआत 21 दिसंबर से होती है।
उत्तराखंड में ऊंचाई पर बर्फ, मैदानों में ठिठुरन
उत्तराखंड में सर्दी का असर लगातार बढ़ रहा है।
मौसम विभाग के अनुसार:
- चमोली, उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग और पिथौरागढ़ जैसे ऊंचाई वाले जिलों में भारी बर्फबारी की चेतावनी
- न्यूनतम तापमान शून्य डिग्री सेल्सियस से नीचे जाने की संभावना
- मैदानी क्षेत्रों में सुबह-शाम तेज ठंडी हवाएं और घना कोहरा
- कई स्थानों पर पाले की सफेद परत दिखाई दे रही है
हालांकि दिन में धूप निकलने से कुछ समय के लिए राहत मिल सकती है, लेकिन कुल मिलाकर ठंड से निजात फिलहाल मुश्किल नजर आ रही है।
दिल्ली-एनसीआर में भी बढ़ी ठंड
उत्तर-पश्चिम भारत में कमजोर पश्चिमी विक्षोभ का असर दिल्ली-एनसीआर में भी देखने को मिल रहा है।
मौसम विभाग के अनुसार 15 और 16 दिसंबर को न्यूनतम तापमान में
और गिरावट दर्ज की जा सकती है, जिससे राजधानी में ठंड और बढ़ेगी।
















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