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17 नवंबर श्री बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल के लिए हुए बंद

जय श्री बदरीविशाल के उदघोष के साथ विधि-विधान से आज 17 नवंबर, रात्रि को 9 बजकर 07 मिनट पर श्री बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल के लिए हुए बंद।

हजारों श्रद्धालु कपाट बंद के दिन धाम में मौजूद रहे।

18 नवंबर प्रात: देव डोलियां योग बदरी पांडुकेश्वर तथा जोशीमठ प्रस्थान करेगी। योग बदरी पांडुकेश्वर तथा श्री नृसिंह मंदिर जोशीमठ में 19 नवंबर से शीतकालीन पूजाएं शुरू होंगी।

स्थानीय लोक कलाकारों तथा महिला मंगल दल बामणी, पांडुकेश्वर द्वारा स्थानीय लोकनृत्य तथा जागर आदि का आयोजन किया गया। दानीदाताओं तथा सेना ने श्रद्धालुओं के लिए भंडारों का आयोजन किया।

जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने बदरीनाथ धाम यात्रा समापन के अवसर पर भगवान बदरीविशाल के दर्शन किए। जिलाधिकारी ने कहा कि प्रशासन तथा मंदिर समिति के समन्वयन से श्री बदरीनाथ यात्रा कुशलतापूर्वक संपन्न हुई। रिकार्ड संख्या में तीर्थयात्री बदरीनाथ पहुंचे।

उल्लेखनीय है कि बुधवार 13 नवंबर से पंचपूजाएं शुरू हो गयी थी पंच पूजाओं के अंतर्गत पहले दिन भगवान गणेश की पूजा हुई, शाम को इसी दिन भगवान गणेश के कपाट बंद हो गये।

दूसरे दिन बृहस्पतिवार 14 नवंबर को आदि केदारेश्वर मंदिर तथा शंकराचार्य मंदिर के कपाट बंद हुए। तीसरे दिन शुक्रवार 15 नवंबर को खडग पुस्तक पूजन तथा वेद ऋचाओं का वाचन बंद हो गया।चौथे दिन शनिवार 16 नवंबर मां लक्ष्मी जी का कढ़ाई भोग चढाया गया। आज रविवार 17 नवंबर को रात 9 बजकर 07 मिनट पर श्री बदरीनाथ घाम के कपाट बंद हो गये।

कपाट बंद होने की तिथि तय होने के कार्यक्रम विजयदशमी सोमवार 12 अक्टूबर बदरीनाथ धाम की आगामी या़त्रा के लिए हक-हकूकधरियों को श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति ने पगड़ी भेंटकर यात्रा वर्ष 2025 के लिए भंडार की जिम्मेदारी दी गयी थी गयी।

इसी दिन श्री बदरीनाथ धाम के कपाट के बंद होने के कार्यक्रम के अलावा श्री कुबेर जी श्री उद्धव जी के योग बदरी पांडुकेश्वर प्रस्थान तथा रावल जी तथा आदि गुरू शंकराचार्य जी की गद्दी के जोशीमठ प्रस्थान का कार्यक्रम घोषित किया गया था।

श्री उद्धव जी एवं कुबेर जी शीतकाल में पांडुकेश्वर प्रवास करेंगे तथा 18 नवंबर को पांडुकेश्वर प्रवास के बाद 19 नवंबर को आदि गुरू शंकराचार्य की गद्दी रावल धर्माधिकारी वेदपाठी सहित श्री नृसिह मंदिर जोशीमठ प्रस्थान करेगी। इसके बाद योग बदरी पांडुकेश्वर तथा श्री नृसिंह मंदिर जोशीमठ में शीतकालीन पूजायें भी शुरू हो जायेगी।

इस मौके पर मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय, उपाध्यक्ष किशोर पंवार ने भी यात्रा समापन अवसर पर सभी श्रद्धालुओं का धन्यवाद ज्ञापित किया है।

https://regionalreporter.in/second-kedarnath-madmaheshwar-dham-will-be-closed-on-20-november/
https://youtu.be/jkIQC6t9hr8?si=LGklbdAHVjq-iUJa
अरुण मिश्रा
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