संविधानिक व्यवस्था की प्रक्रिया को स्पष्ट करती एक मूर्त सीरीज संविधान

श्याम बेनेगल कृत वेब सीरीज
अतुल शर्मा

जन संवाद द्वारा दून लाईब्रेरी व रिसर्च सेंटर में एक बहुत सार्थक कार्यक्रम आयोजित किया गया। दून लाइब्रेर में श्याम बेनेगल की वेब सीरीज ‘संविधान’ का प्रदर्शन किया गया। यह राज्य सभा चैनल में दस एपिसोड में टैलीकास्ट हो चुका है। इसका प्रदर्शन माह में दो एपिसोड के रुप में यहाँ प्रदर्शित करना आरम्भ हुआ है।

संविधान बनने की प्रक्रिया को पहले ऐपीसोड में दिखाया गया। शुरूआत में संविधान की पहली प्रति दिखाई गयी। श्याम बेनेगल जैसे महत्वपूर्ण व गम्भीर फिल्मकार का अद्भुत शोध और स्थितियों का सजीव चित्रण हुआ है। सूत्र धार के रुप में स्वरा भास्कर ने संविधान तैयार होने से पहले की स्थिति बयान की।

आजादी और विभाजन की परिस्थितियों में संविधान की गहन चर्चा प्रमुख रही। अंग्रेजी हुकूमत की बैठके भी दिखाई गई। महात्मा गांधी का अभूतपूर्व और दृढ़ चरित्र प्रभावित कर गया।

संविधान बनने के बाद उसे लागू करने वालों पर उनके संवाद हो या जब जवाहरलाल नेहरू संसद में भाषण दे रहे थे और राष्ट्रपति राजेन्द्र प्रसाद बनाये गये। तब गांधी जी अंतिम लोगों के बीच थे।

जगजीवन राम उनसे मिलने गये तब गांधी जी ने कहा कि जब भी आप कोई निर्णय लेने तो उस व्यक्ति का ध्यान करें जो भूखा प्यासा और गरीब है। सोचना अगर तुम्हारे निर्णय से उसका कोई भला होगा कि नहीं।

सरदार पटेल, जिन्ना, अबुल कलाम आजाद, खां अब्दुल गफ्फार खां आदि बहुत से व्यक्तित्वों का अभिनय स्वाभाविक था। समता समानता अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता आदि से युक्त संविधान देश को व्यवस्था देने वाला पवित्र संविधान है भारत का। पर उसका प्रक्रिया बहुत गहरी है। उसे ही यहाँ दिखाया गया है।

यह एक जानकारी से भरी फिल्म है जो दस एपिसोड मे प्रदर्शित की जा चुकी है। पहला एपिसोड देख कर दून लाईब्रेरी मे अध्ययन करने वाले छात्र-छात्राओं ने गम्भीर होकर देखा। इस पर क्विज भी होगा। संयोजक सतीश धौलाखंडी ने जन गीत प्रस्तुत किये, ‘जानने का हक रे’ और ‘नदी तू बहती रहना’।

पत्रकार त्रिलोचन भट्ट ने साधारण उदाहरण देकर गहरी बात की। संचालन कमलेश खंतवाल ने किया उन्होंने कहा कि भीम राव अम्बेडकर जी का महत्वपूर्ण वर्णन है। दून लाईब्रेरी के चन्द्र शेखर तिवारी ने आभार व्यक्त किया। साथ मे सुंदर सिह बिष्ट आदि ने सहयोग दिया। नगर के संभ्रांत लोग उपस्थित रहे। शीघ्र ही एक नाटक भी प्रस्तुत होने की घोषणा की गयी। श्याम बेनेगल की इस फिल्म देख कर लगा कि एक अध्ययन है और दर्शकों के लिए क्लास है।

https://regionalreporter.in/students-of-canberra-university/

https://youtu.be/DOr9xIQE7b8?si=SuXimURswdUwF5at

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